भारतीय जनता पार्टी ने नरेंद्र मोदी का एक 27 साल पुराना वीडियो जारी किया है. इस वीडियो में नरेंद्र मोदी श्रीनगर के लाल चौक पर तिरंगा फहराने जा रहे हैं. इस वीडियो में नरेंद्र मोदी जोशीला भाषण देते नजर आ रहे हैं. इस वीडियो को अपने आधिकारिक ट्वीटर अकाउंट से ट्वीट करते हुए बीजेपी ने लिखा है, "शेरों के तेवर नहीं बदलते."
ये साल था 1992. जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद नया-नया पैर पसार ही रहा था. नरेंद्र मोदी उस वक्त बीजेपी के वरिष्ठ नेता मुरली मनोहर जोशी की इस टीम के सदस्य थे, जो जबरदस्त आतंक के दौर में श्रीनगर के लाल चौक पर तिरंगा फहराने जा रही थी. आतंकियों ने बीजेपी नेताओं के इस आह्वान का विरोध किया था और श्रीनगर आने पर हमले की धमकी दी थी.
दरअसल बीजेपी ने कन्याकुमारी से एकता यात्रा शुरू करते हुए 26 जनवरी 1992 में श्रीनगर के दिल लाल चौक पर तिरंगा फहराने का ऐलान किया था. बीजेपी द्वारा जारी ये वीडियो 24 जनवरी 1992 का है. इस वीडियो में भगवा पगड़ी पहने नरेंद्र मोदी कह रहे हैं, "हमारी यात्रा की सफलता ने आतंकियों को परेशान कर रखा है. लाल चौक में पोस्टर्स लगाए हैं, दीवारों पर लिखा है जिन्होंने अपनी मां का दूध पीया है वो श्रीनगर के लाल चौक आएं, आकर भारत का तिरंगा झंडा फहराएं और अगर वो जिंदा वापस जाएगा तो आतंकवादी उसे इनाम देंगे...आतंकवादी कान खोलकर सुन लें, 26 जनवरी को परसों...अब चंद घंटे बाकी हैं...लाल चौक में फैसला हो जाएगा किसने अपनी मां का दूध पीया है."
बता दें कि 26 जनवरी को श्रीनगर के लाल चौक में स्थिति बेहद तनावपूर्ण थी. आतंकवादियों ने पुलिस मुख्यालय के पास धमाका किया था, जिसमें तत्कालीन पुलिस महानिदेशक जख्मी हो गए थे.
स्थिति की गंभीरता को देखते हुए श्रीनगर प्रशासन ने मुरली मनोहर जोशी, नरेंद्र मोदी समेत भाजपा के कुछ सीनियर नेताओं को हवाई मार्ग से श्रीनगर पहुंचाया था. लालचौक किले में तब्दील था. चारों ओर सेना और जम्मू-कश्मीर पुलिस के जवान तैनात थे. बेहद तनाव और कड़ी सुरक्षा इंतजाम के बीच मुरली मनोहर जोशी और नरेंद्र मोदी ने करीब 15 में तिरंगा फहराया और सकुशल वापस लौटे.
बीजेपी ने इस वीडियो के साथ एक और वीडियो जारी किया है, जो पुलवामा हमले के बाद पाकिस्तान स्थित बालाकोट में भारत द्वारा एयरकोट स्ट्राइक के बाद पीएम के भाषण का है. 4 मार्च 2019 के इस भाषण में गुजरात के अहमदाबाद में पीएम नरेंद्र मोदी कह रहे हैं, " जो आग देशवासियों के दिल में है वो मेरे भी दिल में है...सातवें पाताल में भी जो होंगे उनको भी मैं छोड़ने वाला नहीं हूं. मैं दोस्तो इंतजार लंबा नहीं कर सकता, चुन-चुनकर हिसाब लेना मेरी फितरत है, ये मेरा सिद्धांत है घर में घुसकर हम मारेंगे."
अपनी चिट्ठी में उन्नाव सांसद ने लिखा था कि वह उन्नाव के अलावा किसी और सीट से चुनाव नहीं लड़ना चाहते हैं और अगर उनका टिकट उन्नाव से कटा तो पार्टी को नतीजे भुगतने पड़ सकते हैं. गौरतलब है कि भारतीय जनता पार्टी ने अभी तक अपने उम्मीदवारों की लिस्ट जारी नहीं की है, खबर है कि शनिवार को पार्टी की पहली लिस्ट आ सकती है.
साक्षी महाराज अपने आक्रामक बयानों को लेकर जाने जाते हैं, फिर चाहे वह राम मंदिर को लेकर दिया गया बयान हो या फिर विपक्षी पार्टियों पर हमले का बयान हो. कई बार उनके बयान पार्टी के लिए चिंता का विषय भी बने हैं.
मनीष सिसोदिया ने पुलिस अधिकारी राजीव रंजन, पंकज सिंह और सतीश गोलचा पर दिल्ली पुलिस के इशारे पर कॉल सेंटर कर्मियों को टॉर्चर करने का आरोप लगाते हुए चुनाव आयोग से उन्हें सस्पेंड करने की मांग की है. उन्होंने कहा, 'भारतीय जनता पार्टी के इशारे पर 24 लाख वोट गलत तरीके से काटे गए. हमने पहले भी इसकी शिकायत चुनाव से की थी.'
'कॉल सेंटर के मालिकों को मिल रही धमकी'
सिसोदिया ने कहा, 'हमने डोर टू डोर कैंपेन करके नंबर इकट्ठा किया है. अब हम कैंपेनिंग कर रहे हैं और उनके वोट बनवा रहे हैं. हमने उनकी मदद की है लोगों ने अपना वोट भी बनवाया है. लेकिन जिस कॉल सेंटर के जरिए हम यह अभियान चला रहे थे. दिल्ली पुलिस भारतीय जनता पार्टी के इशारे पर उस कॉल सेंटर को रोजाना रेट कर रही है. रोजाना कॉल सेंटर के मालिकों को दफ्तर में बिठाकर परेशान किया जाता है. उन्हें धमकाया जाता है कि अगर आम आदमी पार्टी के लिए काम करना बंद नहीं किया तो तुम्हें ठोक देंगे बर्बाद कर देंगे. रोजाना दिल्ली पुलिस की यह करतूत चल रही है. अब जबकि देश में चुनाव आचार संहिता लग चुकी है सभी पार्टियों को सुगम चुनाव करने का वातावरण देना चुनाव आयोग की जिम्मेदारी है.'
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